Milk Subsidy : राज्य में दुग्ध उत्पादक किसानों को सब्सिडी देने को लेकर कैबिनेट बैठक में फैसला लिया गया है। इसके मुताबिक, अब सहकारी समितियों, निजी दुग्ध संघों को दूध आपूर्ति करने वाले किसानों को 5 रुपये प्रति लीटर की सब्सिडी दी जाएगी। राज्य में सहकारी दुग्ध संघों और निजी दुग्ध परियोजनाओं के माध्यम से एकत्रित गाय के दूध पर दुग्ध उत्पादकों और किसानों को 5 रुपये प्रति लीटर की सब्सिडी दी जाएगी। इससे पहले सत्र में केवल सहकारी दुग्ध संघों को सब्सिडी देने का निर्णय लिया गया था।
राज्य में प्रतिदिन 1 करोड़ 60 लाख लीटर दूध जमा होता है। इस हिसाब से किसानों को सब्सिडी देने के लिए 283 करोड़ रुपये की जरूरत है। इसमें से 204 करोड़ रुपये अनुपूरक मांग के माध्यम से और शेष पुनर्निवेश के माध्यम से उपलब्ध कराए जाएंगे। उपमुख्यमंत्री पवार ने यह भी कहा कि योजना के कार्यान्वयन के लिए सॉफ्टवेयर विकसित किया गया है और दूध उत्पादक किसानों को उनके आधार से जुड़े खातों में प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण के माध्यम से सब्सिडी वितरित की जाएगी।
दूध सब्सिडी योजना पहली बार 11 जनवरी से 10 फरवरी की अवधि के लिए लागू की गई थी। इस योजना को एक महीने तक बढ़ाने का फैसला किया है और इससे किसानों को राहत मिली है। 11 फरवरी से 10 मार्च 2024 तक की अवधि के लिए तक सब्सिडी बढ़ाने का फैसला लिया गया है। एक माह बढ़ने से दुग्ध उत्पादकों को राहत मिली है। इसके लिए राज्य सरकार 230 करोड़ रुपये का फंड देगी।